रुबिकॉन रिसर्च लिमिटेड का आरंभिक सार्वजनिक निर्गम 9 अक्टूबर को खुलेगा
रुबिकॉन रिसर्च लिमिटेड का IPO गुरुवार से खुलेगा, जिसमें 500 करोड़ का फ्रेश इश्यू और 877.5 करोड़ की OFS शामिल। प्राइस बैंड 461-485 रुपये। एंकर निवेशक बोली 8 अक्टूबर से।

मुंबई, 8 अक्टूबर 2025: फार्मास्यूटिकल क्षेत्र में मजबूत उपस्थिति रखने वाली रुबिकॉन रिसर्च लिमिटेड अपने लंबे इंतजार को खत्म करने को तैयार है। कंपनी गुरुवार, 9 अक्टूबर को अपने इक्विटी शेयरों का आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) खोलेगी, जो निवेशकों के लिए एक बड़ा अवसर साबित हो सकता है। यह कदम कंपनी को बाजार में मजबूत पैर जमाने और विस्तार की योजनाओं को गति देने में मदद करेगा।
IPO की मुख्य बातों पर नजर डालें तो एंकर निवेशकों के लिए बोली लगाने की तारीख बुधवार, 8 अक्टूबर को तय की गई है, जबकि सामान्य बोली 9 अक्टूबर से शुरू होकर सोमवार, 13 अक्टूबर तक चलेगी। प्राइस बैंड ₹461 से ₹485 प्रति शेयर (फेस वैल्यू ₹1) रखा गया है, जो निवेशकों को आकर्षक विकल्प प्रदान करता है। न्यूनतम लॉट साइज 30 शेयरों का है, और उसके बाद 30 के गुणकों में बोली लगाई जा सकती है। कुल मिलाकर, यह IPO ₹500 करोड़ तक के फ्रेश इश्यू और प्रमोटर विक्रय शेयरधारक जनरल अटलांटिक सिंगापुर आरआर प्राइवेट लिमिटेड द्वारा ₹877.5 करोड़ तक की ऑफर फॉर सेल (OFS) पर आधारित है।
कंपनी ने पात्र कर्मचारियों के लिए विशेष आरक्षण भी सुनिश्चित किया है। कुल ₹17.50 मिलियन तक का कर्मचारी आरक्षण भाग होगा, जिसमें प्रति शेयर ₹46 की छूट मिलेगी। यह कदम कंपनी के वफादार कर्मचारियों को हिस्सेदारी देने का संदेश देता है, जो कॉर्पोरेट संस्कृति की मजबूती को दर्शाता है। शुद्ध IPO (कर्मचारी आरक्षण घटाकर) के तहत फंड जुटाने की योजना है, जो बाजार की गतिशीलता को ध्यान में रखते हुए बुक बिल्डिंग प्रक्रिया से होगी।
फंड के उपयोग की बात करें तो फ्रेश इश्यू से जुटाई गई शुद्ध आय का बड़ा हिस्सा कंपनी के मौजूदा उधारों के पूर्व भुगतान या पुनर्भुगतान में लगेगा। बाकी राशि अज्ञात अधिग्रहणों और अन्य रणनीतिक पहलों के जरिए अकार्बनिक विकास को बढ़ावा देने तथा सामान्य कॉर्पोरेट जरूरतों के लिए इस्तेमाल होगी। वहीं, OFS से मिली आय सीधे विक्रेता जनरल अटलांटिक सिंगापुर को प्राप्त होगी। यह विनियमन सेबी के आईसीडीआर नियमों के अनुरूप है, जो निवेशकों के हितों की रक्षा सुनिश्चित करता है।
रुबिकॉन रिसर्च का यह IPO न केवल कंपनी के विकास की कहानी को आगे बढ़ाएगा, बल्कि फार्मा सेक्टर में निवेश की भूख को भी संतुष्ट करेगा। बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि मजबूत फंडामेंटल्स और वैश्विक साझेदारियों के साथ यह इश्यू सफल रहेगा। निवेशक सलाहकारों से परामर्श लेकर ही कदम उठाएं, क्योंकि बाजार की अनिश्चितताएं हमेशा बनी रहती हैं। कुल मिलाकर, यह कदम कंपनी को नई ऊंचाइयों तक ले जाने का वादा करता है, जो भारतीय अर्थव्यवस्था के विकास में योगदान देगा।